औरंगजेब vs संभाजी: छावा में दिखा शौर्य का संग्राम


 

“छावा” एक ऐतिहासिक फिल्म है, जिसका निर्देशन लक्ष्मण उतेकर ने किया है और इसमें मुख्य भूमिकाओं में विक्की कौशल, अक्षय खन्ना और रश्मिका मंदाना हैं। यह फिल्म छत्रपति शिवाजी महाराज के पुत्र छत्रपति संभाजी महाराज की वीरता और संघर्ष को दर्शाती है। 

कहानी का सारांश

फिल्म की कहानी 1680 में छत्रपति शिवाजी महाराज की मृत्यु के बाद शुरू होती है, जब मुग़ल सम्राट औरंगजेब (अक्षय खन्ना) अपने दुश्मन के चले जाने पर खुश होते हैं। लेकिन संभाजी महाराज (विक्की कौशल) उनके सपनों को चूर-चूर कर देते हैं जब वह बुर्हानपुर पर हमला करते हैं। इस संघर्ष में राजनीतिक साज़िशें और पारिवारिक विवाद भी शामिल हैं, जो कहानी को और दिलचस्प बनाते हैं।

 

प्रदर्शन और तकनीकी पहलू

विक्की कौशल ने संभाजी महाराज की भूमिका में शानदार प्रदर्शन किया है, जो उनकी करियर की बेहतरीन भूमिकाओं में से एक मानी जा रही है। फिल्म की सिनेमेटोग्राफी और प्रोडक्शन डिज़ाइन भी प्रशंसा के योग्य हैं, हालांकि कुछ समीक्षकों ने इसकी कहानी को कमजोर बताया है। पहले भाग में थोड़ी सुस्ती देखने को मिली, लेकिन दूसरे भाग में फिल्म ने गति पकड़ी।

 

आलोचना

फिल्म की आलोचना करते हुए कुछ समीक्षकों ने इसे “गौरवपूर्ण” बताया लेकिन साथ ही यह भी कहा कि यह कभी-कभी एकतरफा नजरिया पेश करती है। धार्मिक तत्वों का अत्यधिक उपयोग भी कुछ दर्शकों के लिए चिंता का विषय बन सकता है। कुल मिलाकर, छावा एक मनोरंजक अनुभव है, जो दर्शकों को बड़े पर्दे पर देखने लायक लगता है।

इस प्रकार, छावा एक ऐसी फिल्म है जो न केवल वीरता का गुणगान करती है बल्कि दर्शकों को एक ऐतिहासिक यात्रा पर ले जाती है।









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