भारत ने न्यूजीलैंड को हराकर चैंपियंस ट्रॉफी 2025 का खिताब जीता
दुबई में खेले गए आईसीसी चैंपियंस ट्रॉफी 2025 के फाइनल में भारत ने न्यूजीलैंड को चार विकेट से हराकर अपना तीसरा खिताब जीत लिया। न्यूजीलैंड ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 251 रन बनाए थे, जिसे भारत ने 49 ओवर में 252 रन बनाकर हासिल कर लिया। इस जीत के साथ भारत ने अपनी मजबूती और संयुक्त प्रयास का प्रदर्शन किया।
मैच की शुरुआत और न्यूजीलैंड की पारी
न्यूजीलैंड के कप्तान मिचेल सैंटनर ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने का फैसला किया। सलामी बल्लेबाज विल यंग और रचिन रविंद्र ने अच्छी शुरुआत दिलाई, दोनों के बीच 57 रन की साझेदारी हुई। विल यंग 15 रन बनाकर आउट हुए, जबकि रचिन रविंद्र 37 रन बनाकर कुलदीप यादव की गेंद पर क्लीन बोल्ड हो गए। केन विलियमसन 11 रन ही बना सके और टॉम लैथम ने 14 रन का योगदान दिया। ग्लेन फिलिप्स ने 34 रन की पारी खेली, लेकिन वरुण चक्रवर्ती ने उन्हें आउट कर न्यूजीलैंड को पांचवां झटका दिया।
डेरिल मिचेल ने 63 रन की महत्वपूर्ण पारी खेली, जबकि माइकल ब्रेसवेल ने नाबाद 50 रन बनाए। न्यूजीलैंड की पारी 251/7 पर समाप्त हुई। इस दौरान भारतीय कप्तान रोहित शर्मा ने डेरिल मिचेल का कैच छोड़ा, जो बाद में एक बड़ा स्कोर बनाने में सफल रहा।
भारत की पारी और जीत
भारत की पारी की शुरुआत रोहित शर्मा और शुभमन गिल ने की। रोहित शर्मा ने 76 रन की शानदार पारी खेली, जिसमें उन्होंने अपनी क्लास दिखाई। शुभमन गिल कुछ खास नहीं कर सके और जल्दी आउट हो गए। इसके बाद श्रेयस अय्यर ने 48 रन का योगदान दिया, लेकिन वे भी जल्दी आउट हो गए। हालांकि, केएल राहुल ने नाबाद 34 रन बनाकर भारत को जीत दिलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
रोहित शर्मा को आउट करने के लिए न्यूजीलैंड ने कई मौके बनाए, लेकिन वे उन्हें सफल नहीं हो सके। रोहित को रचिन रविंद्र की गेंद पर स्टंप आउट किया गया, जब वे 76 रन पर थे। इसके बाद भी भारतीय बल्लेबाजों ने संयम बनाए रखा और लक्ष्य को आसानी से हासिल कर लिया।
मैच के बाद रोहित शर्मा की प्रतिक्रिया
मैच के बाद रोहित शर्मा ने पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि वह इस फॉर्मेट से संन्यास नहीं लेंगे। उन्होंने कहा, “एक और बात, मैं इस फॉर्मेट से संन्यास नहीं लूंगा। आगे चलकर कोई अफवाह न फैले, इसलिए मैं यह स्पष्ट कर देना चाहता हूं।” रोहित ने यह भी कहा कि टूर्नामेंट जीतने के लिए सामूहिक प्रयास की जरूरत होती है और उनकी टीम ने इसे बखूबी निभाया।
इस जीत के साथ भारत ने अपनी मजबूती और संयुक्त प्रयास का प्रदर्शन किया और चैंपियंस ट्रॉफी का तीसरा खिताब अपने नाम कर लिया।